----विश्व मधुमेह दिवस----
जौनपुर। विश्व स्वास्थ्य मधुमेह दिवस पर मंगलवार को विभिन्न आयोजन किए गए। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की जिला शाखा की ओर से जन जागरूकता रैली का आयोजन किया गया। नि:शुल्क स्वास्थ्य परीक्षण शिविर में लोगों का परीक्षण करने के साथ ही मधुमेह से बचाव के बारे में उपयोगी जानकारी दी गई।

आरबी मेमोरियल हास्पिटल में प्रख्यात हृदय रोग विशेषज्ञ डा. मिर्जा मोहम्मद मेहर अब्बास के नेतृत्व में 250 मरीजों की नि:शुल्क मधुमेह जांच, ब्लड प्रेशर एवं मधुमेह के कारण होने वाली न्यूरोपैथी की मशीन द्वारा जांच की गयी। डा. अब्बास ने बताया कि दो से छह नवम्बर तक आरएसएसडीआई जो कि भारत में मधुमेह की सबसे बड़ी पाठशाला है। उसमें इसी वर्ष भुवनेश्वर में कार्यशाला हुई थी। जहां मधुमेह से बचने व रोगियों को ठीक करने के बारे में जानकारी दी गयी। उन्होंने बताया कि मधुमेह कोई रोग नहीं है बल्कि लाइफ स्टाईल डिस्आर्डर है जो कि अनियमित जीवनशैली, खान-पान और कुछ दवाइयों के दुष्प्रभाव से होता है। ये दो प्रकार के होते है एक आईडीडीएम और डीएम। भारत में मधुमेह रोगियों की संख्या सबसे अधिक है। इसलिए भारत को डैम आफ डायबिटिज भी कहा जाता है। इस मौके पर जयगोविंद सिंह, महेश भारती, धर्मेंद्र प्रजापति, काजिम अब्बास, मो. रफीक, राजेश शर्मा, राजेंद्र यादव, केके मिश्रा, सौरभ कुमार श्रीवास्तव मौजूद रहे। इसी कड़ी में इंडिया अलखैर फाउण्डेशन के तत्वावधान में निशुल्क स्वास्थ्य शिविर लगाया गया जिसमें डा. अब्दुर्रहमान मुजाहिद व उनकी टीम ने 200 से ज्यादा मरीजों की निशुल्क जांच की। उन्होंने बताया कि भारत में मधुमेह वाले 69.1 मिलीयन लोग है। चीन के बाद दुनिया में सबसे बड़ी संख्या भारत में है, जिसमें 109 मिलीयन लोग मधमुेह वाले है। इंटरनेशनल डायबिटिज द्वारा जारी एटलस के अनुसार इसमें से 36 मिलीयन मामले निगृत नहीं है। मधुमेह के कारण होने वाली जटिलताओं में ह्मदय रोग, कुष्ठ रोग, गुर्दा की विफलता, दृष्टि हानि और न्यूरोपैथी या तंत्रिका क्षति शामिल होती है जो पैर अंगच्छेदन के लिए अग्रणी होती है।
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